पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की तीनों बेटियों की सफलता की कहानी
मनमोहन सिंह की बेटियां: अपनी मेहनत और लगन से बनाई खास पहचान
पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का नाम भारत के सबसे शांत, विद्वान और सरल नेताओं में लिया जाता है। उनके कार्यकाल और व्यक्तित्व को लोग आज भी याद करते हैं। लेकिन उनके परिवार की सफलता की कहानी भी कम प्रेरणादायक नहीं है। मनमोहन सिंह की तीनों बेटियां – उपिंदर सिंह, दमन सिंह और अमृत सिंह ने अपने-अपने क्षेत्रों में बड़ी कामयाबी हासिल कर एक अलग पहचान बनाई है। आइए, जानते हैं उनके परिवार और बेटियों की उपलब्धियों के बारे में।
पत्नी गुरशरण कौर: जीवनभर का साथ

मनमोहन सिंह ने साल 1958 में गुरशरण कौर से शादी की थी। गुरशरण कौर एक इतिहास की प्रोफेसर और लेखिका रह चुकी हैं। उनके पास न केवल शिक्षा का गहरा ज्ञान था, बल्कि सांस्कृतिक रुचियों में भी वे आगे थीं। प्रधानमंत्री कार्यकाल के दौरान उन्होंने सामाजिक और सांस्कृतिक कार्यक्रमों में अहम भूमिका निभाई।
गुरशरण कौर ने अपने पति के राजनीतिक और सार्वजनिक जीवन में हर कदम पर उनका साथ दिया। उनका यह समर्पण परिवार की परवरिश और बेटियों की शिक्षा व करियर में भी झलका।
तीनों बेटियों की उपलब्धियां
1. उपिंदर सिंह: इतिहास के क्षेत्र में बड़ा नाम
मनमोहन सिंह की सबसे बड़ी बेटी उपिंदर सिंह भारत की जानी-मानी इतिहासकार हैं। वे दिल्ली यूनिवर्सिटी में प्रोफेसर रह चुकी हैं और भारतीय इतिहास पर कई महत्वपूर्ण पुस्तकें लिख चुकी हैं। उनकी उम्र 65 साल है।
उपिंदर के पति विजय तन्खा भी एक शिक्षाविद् और लेखक हैं। उनके दो बच्चे हैं। उपिंदर ने अपनी मेहनत से इतिहास के क्षेत्र में एक मजबूत पहचान बनाई है और कई शोधकार्य किए हैं, जो भारतीय इतिहास को समझने में मददगार साबित हुए हैं।
2. दमन सिंह: परिवार की कहानी कहने वाली लेखिका
मनमोहन सिंह की दूसरी बेटी दमन सिंह एक लेखिका हैं। उन्होंने अपने माता-पिता पर आधारित एक जीवनी “स्ट्रिक्टली पर्सनल: मनमोहन एंड गुरशरण” लिखी है। इस किताब में उन्होंने अपने परिवार के निजी और अनकहे पहलुओं पर रोशनी डाली है।
दमन सिंह की उम्र 61 साल है। उनके पति अशोक पटनायक वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी थे। उनका एक बेटा है। उनकी लेखनी में संवेदनशीलता और परिवार के प्रति गहरी समझ झलकती है।
3. अमृत सिंह: मानवाधिकार के लिए समर्पित वकील
सबसे छोटी बेटी अमृत सिंह अमेरिका में मानवाधिकार वकील हैं। उन्होंने नागरिक स्वतंत्रता और मानवाधिकारों के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान दिया है। उनकी उम्र 58 साल है।
अमृत ने अपने करियर में कई ऐसे केस लड़े हैं, जो समाज में बदलाव लाने वाले साबित हुए। हालांकि उनके पति के बारे में अधिक जानकारी उपलब्ध नहीं है, लेकिन उनकी उपलब्धियां खुद उनकी पहचान हैं।
डॉ. मनमोहन सिंह का परिवार: प्रेरणा का स्रोत
मनमोहन सिंह का परिवार उनके सरल और विद्वतापूर्ण व्यक्तित्व का जीता-जागता उदाहरण है। उनकी बेटियों ने यह साबित कर दिया कि वे सिर्फ पूर्व प्रधानमंत्री की बेटियां नहीं, बल्कि अपने क्षेत्र में अलग पहचान बनाने वाली सशक्त महिलाएं हैं।
उनकी यह कहानी नई पीढ़ी को प्रेरणा देती है कि मेहनत और लगन से हर सपना पूरा किया जा सकता है।